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ये जिंदगी एक ख्वाब सी लगती है
कभी सच्ची कभी कच्ची सी लगती है
कभी इस ख्वाब पे यकीन करने को जी चाहता है
कहीं सपने बिखर ना जाय,दिल घबरा सा जाता है
कुछ पल कभी कभी बड़े मीठे से लगते है
कुछ थोडे नमकीन फिर भी सच्चे से लगते है
कुछ पलो ने हमे यहाँ कितना रुलाया है
हमने भी तो दिल को हर बार समझाया है
कभी यहाँ कोई अपना सा लगेगा
कभी कोई अपना बनकर छलेगा
दस्तूर है जिंदगी का, बस चलते जाना है
हर पल में हमे यहाँ बस सभंलते जाना है
उदास हो मन जब, खुद को समझा लेना
जिंदगी को फिर खुले दिल से अपना लेना
जिंदगी की गाड़ी बस यूंही चलती जायेगी
दिन बीतते जायेंगे,राते गुजरती चली जायेंगी
जिंदगी बस एक ख्वाब सी, जिंदगी बस एक ख्वाब सी
कभी आँखो में समा जाय,कभी आँखो को भिगा जाय
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👍👌
ReplyDeleteNice poem
ReplyDeleteNice lines....keep it up
ReplyDeleteJindagi ek khwaab si......kbhi aankhon me sama jae..kbhi rula jae
ReplyDeletevery nice
ReplyDeleteKya baat hai, dil ko .choo liya
ReplyDeleteSo nice lines
ReplyDeleteSo nice lines
ReplyDeleteKya baat h...wah
ReplyDeleteये जिंदगी एक ख्वाब सी लगती है
ReplyDeleteकभी सच्ची कभी कच्ची सी लगती है
Bilkul sahi
Wah wah
ReplyDeleteजिंदगी बस एक ख्वाब सी, जिंदगी बस एक ख्वाब सी
ReplyDeleteकभी आँखो में समा जाय,कभी आँखो को भिगा जाय
beautiful lines